Class 7 Hindi Chapter 7 वर्षा-बहार Questions Answers NCERT Solutions मल्हार
Chapter 7 वर्षा-बहार Class 7 NCERT Solutions
पाठ से
मेरी समझ
(क) नीचे दिए गए प्रश्नों का सटीक उत्तर कौन-सा है? उसके सामने तारा (*) बनाइए। कुछ प्रश्नों के एक से अधिक उत्तर भी हो सकते हैं।
(1) इस कविता में वर्षा ऋतु का कौन-सा भाव मुख्य रूप से उभर कर आता है?
- दुख और निराशा
- आनंद और प्रसन्नता
- भय और चिंता
- क्रोध और विरोध
उत्तर
आनंद और प्रसन्नता (*)
विश्लेषण: कविता में वर्षा को खुशी, उत्साह और प्रकृति की सुंदरता के साथ दर्शाया गया है। मोर नृत्य करते हैं, मेंढक गीत गाते हैं, और किसान प्रसन्न होकर गीत गाते हैं। यह सब आनंद और प्रसन्नता का भाव दिखाता है।
(2) “नभ में छटा अनूठी” और “घनघोर छा रही है” पंक्तियों का उपयोग वर्षा ऋतु के किस दृश्य को व्यक्त करने के लिए किया गया है?
- बादलों के घिरने का दृश्य
- बिजली के गिरने का दृश्य
- ठंडी हवा के बहने का दृश्य
- आमोद छा जाने का दृश्य
उत्तर
बादलों के घिरने का दृश्य (*)
विश्लेषण: इन पंक्तियों में आकाश में बादलों की अनूठी छटा और घने बादलों का छा जाना दर्शाया गया है, जो वर्षा से पहले बादलों के घिरने का दृश्य है।
(3) कविता में वर्षा को ‘अनोखी बहार’ कहा गया है क्योंकि—
- कवि वर्षा को विशेष ऋतु मानता है।
- वर्षा में सभी जीव-जंतु सक्रिय हो जाते हैं।
- वर्षा सबके लिए सुख और संतोष लाती है।
- वर्षा एक अद्भुत अनोखी प्राकृतिक घटना है।
उत्तर
वर्षा में सभी जीव-जंतु सक्रिय हो जाते हैं। (*)
वर्षा सबके लिए सुख और संतोष लाती है। (*)
वर्षा एक अद्भुत अनोखी प्राकृतिक घटना है। (*)
विश्लेषण: कवि वर्षा को विशेष मानता है क्योंकि जीव-जंतु सक्रिय हो जाते हैं, सुख लाती है, और यह एक अनोखी प्राकृतिक घटना है।
(4) “सारे जगत की शोभा, निर्भर है इसके ऊपर” इस पंक्ति का क्या अर्थ है?
- प्रकृति में सभी जीव-जंतु एक-दूसरे पर निर्भर हैं।
- वर्षा पृथ्वी पर हरियाली और जीवन का मुख्य स्रोत है।
- बादलों की सुंदरता से ही पृथ्वी की शोभा बढ़ती है।
- हमें वर्षा ऋतु से जगत की भलाई की प्रेरणा लेनी चाहिए।
उत्तर
वर्षा पृथ्वी पर हरियाली और जीवन का मुख्य स्रोत है। (*)
विश्लेषण: यह पंक्ति बताती है कि वर्षा के बिना हरियाली, फसलें, और जीवन संभव नहीं है। यह पृथ्वी के जीवन और सुंदरता का आधार है।
(ख) हो सकता है कि आपके समूह के साथियों ने अलग-अलग उत्तर चुने हों। अपने मित्रों के साथ चर्चा कीजिए कि आपने ये उत्तर ही क्यों चुनें?
उत्तर
मैंने ये उत्तर इसलिए चुने क्योंकिः
- मैंने "आनंद और प्रसन्नता" को वर्षा ऋतु का मुख्य भाव इसलिए चुना, क्योंकि पूरी कविता में चारों ओर खुशियाँ, नृत्य, गीत, हरियाली और प्रसन्नता का वर्णन किया गया है। कहीं भी दुख या डर जैसा भाव नहीं है।
- "बादलों के घिरने का दृश्य" मैंने इसलिए चुना क्योंकि "नभ में छटा अनूठी" और "घनघोर छा रही है" पंक्तियाँ साफ़ तौर पर आकाश में काले बादलों के जमने को दर्शाती हैं।
- वर्षा में सभी जीव-जंतु सक्रिय हो जाते हैं।, "वर्षा सबके लिए सुख और संतोष लाती है" और "वर्षा एक अद्भुत अनोखी प्राकृतिक घटना है", ये दोनों उत्तर मुझे सही लगे, क्योंकि कविता में दिखाया गया है कि वर्षा से सभी जीव-जंतु और मानव आनंदित होते हैं और यह दृश्य बहुत ही विशेष व सुंदर होता है।
- "वर्षा पृथ्वी पर हरियाली और जीवन का मुख्य स्रोत है"- यह उत्तर मैंने इसलिए चुना, क्योंकि कविता के अंत में कहा गया है कि "सारे जगत की शोभा, निर्भर है इसके ऊपर", जो यह स्पष्ट करता है कि वर्षा से ही धरती हरी-भरी और सुंदर बनती है।
पंक्तियों पर चर्चा
पाठ में से चुनकर कुछ पंक्तियाँ नीचे दी गई हैं। इन्हें ध्यान से पढ़ें और विचार करें। आपको इनका क्या अर्थ समझ में आया? अपने विचार अपने समूह में साझा कीजिए और लिखिए—
(क) “फिरते लाखों पपीहे, हैं ग्रीष्म ताप खोते
करते हैं नृत्य वन में, देखो ये मोर सारे।”
उत्तर
अर्थः गर्मी की ऋतु में जो पपीहे तपन से व्याकुल थे, वे अब वर्षा के आगमन से राहत महसूस कर रहे हैं और उड़ते-फिरते दिखाई देते हैं। वहीं, मोर वर्षा के स्वागत में वन में नृत्य कर रहे हैं।
मेरे विचारः वर्षा ऋतु का आगमन केवल मौसम का बदलाव नहीं लाता, बल्कि यह जीव-जंतुओं के जीवन में भी खुशियाँ और उत्साह भर देता है। यह पंक्ति हमें यह समझाती है कि प्रकृति के प्राणी भी ऋतुओं के परिवर्तन से प्रभावित होते हैं और अपनी खुशी का सुंदर ढंग से प्रदर्शन करते हैं।
(ख) “चलते हैं हंस कहीं पर, बाँधे कतार सुंदर, गाते हैं गीत कैसे, लेते किसान मनहर।”
उत्तर
अर्थः हंस एक सीधी और अनुशासित कतार में चलते हैं, जो देखने में बहुत सुंदर लगता है। किसान भी वर्षा के समय प्रसन्न होकर मन लगाकर गीत गाते हुए खेतों में काम करते हैं।
मेरे विचारः इस पंक्ति में प्राकृतिक सौंदर्य और मानव जीवन में वर्षा के सकारात्मक प्रभाव का चित्रण है। जैसे हंसों की कतार सुंदरता और अनुशासन का प्रतीक है, वैसे ही किसान भी वर्षा से प्रसन्न होकर अपने कार्य में आनंद पाते हैं। यह दिखाता है कि वर्षा केवल प्रकृति ही नहीं, बल्कि मानव समाज में भी उल्लास का कारण बनती है।
मिलकर करें मिलान
कविता में से चुनकर कुछ पंक्तियाँ स्तंभ 1 में दी गई हैं, उनके भावार्थ स्तंभ 2 में दिए गए हैं। स्तंभ 1 की पंक्तियों का स्तंभ 2 की उपयुक्त पंक्तियों से मिलान करें—
उत्तर
सोच-विचार के लिए
कविता को एक बार पुनः ध्यान से पढ़िए, पता लगाइए और लिखिए—
(क) कविता में कौन-कौन गीत गा रहे हैं और क्यों?
उत्तर
कविता में मालिनें (बाग की देखभाल करने वाली स्त्रियाँ) और किसान गीत गा रहे हैं।
- मालिनें बागों में सुंदर गीत गा रही हैं क्योंकि वर्षा से बागों में हरियाली और सुंदरता लौट आई है।
- किसान खेतों में काम करते हुए मनमोहक गीत गा रहे हैं क्योंकि वर्षा ने उनकी फसलों की उम्मीदें जगा दी हैं और वे प्रसन्न हैं।
(ख) "बिजली चमक रही है, बादल गरज रहे हैं"
"तालों में जीव जलचर, अति हैं प्रसन्न होते"
दी गई दोनों पंक्तियों को ध्यान से पढ़िए। इनमें वर्षा के दो अलग-अलग दृश्य दर्शाए गए हैं। इन दोनों में क्या कोई अंतर है? क्या कोई संबंध है? अपने विचार लिखिए।
उत्तर
अंतर:
- पहली पंक्ति में वर्षा से पहले का दृश्य है, जहाँ बिजली चमकती और बादल गरजते हैं। यह प्रकृति की शक्ति और उथल-पुथल को दर्शाता है।
- दूसरी पंक्ति में वर्षा के बाद का दृश्य है, जहाँ तालाबों में पानी भरने से जलचर जीव प्रसन्न होते हैं। यह शांति और खुशी का दृश्य है।
संबंध:
- दोनों पंक्तियाँ वर्षा के अलग-अलग पहलुओं को दिखाती हैं। बिजली और बादलों की गर्जना वर्षा की शुरुआत है, जो तालाबों में पानी लाती है। यह पानी जलचर जीवों की प्रसन्नता का कारण बनता है।
- दोनों दृश्य वर्षा के चक्र का हिस्सा हैं: पहले बादल और बिजली, फिर पानी और जीवन का उत्सव।
(ग) कविता में मुख्य रूप से कौन-सी बात कही गई है? उसे पहचानिए, समझिए और अपने शब्दों में लिखिए।
उत्तर
कविता "वर्षा-बहार" में मुख्य रूप से वर्षा ऋतु की सुंदरता और इसके महत्व को दर्शाया गया है। यह बताती है कि वर्षा प्रकृति को ताजगी, हरियाली, और खुशी देती है। सभी जीव-जंतु, पेड़-पौधे, और मनुष्य वर्षा से आनंदित होते हैं। कविता यह भी कहती है कि वर्षा पृथ्वी की शोभा और जीवन का आधार है।
(घ) "खिलता गुलाब कैसा, सौरभ उड़ा रहा है" इस पंक्ति को पढ़कर एक खिलते हुए गुलाब का सुंदर चित्र मस्तिष्क में बन जाता है। इस पंक्ति का उद्देश्य केवल गुलाब की सुंदरता को बताना है या इसका कोई अन्य अर्थ भी हो सकता है?
उत्तर
इस पंक्ति का उद्देश्य सिर्फ गुलाब की सुंदरता नहीं, बल्कि वर्षा ऋतु में प्रकृति की ताजगी, सुगंध और सजीवता को दर्शाना है। यह पंक्ति वर्षा से आए परिवर्तन और वातावरण में फैली प्रसन्नता और जीवन के उत्सव का प्रतीक भी है।
(ङ) कविता में से उन पंक्तियों को चुनकर लिखिए जिनमें सकारात्मक गतिविधियों का उल्लेख किया गया है, जैसे— ‘गीत गाना’, ‘नृत्य करना’ और ‘सुगंध फैलाना’। इन गतिविधियों के आधार पर बताइए कि इस कविता का शीर्षक ‘वर्षा-बहार’ क्यों रखा गया है।
उत्तर
सकारात्मक गतिविधियों वाली पंक्तियाँ:
- "बागों में गीत सुंदर, गाती हैं मालिनें अब" (गीत गाना)
- "करते हैं नृत्य वन में, देखो ये मोर सारे" (नृत्य करना)
- "मेंढक लुभा रहे हैं, गाकर सुगीत प्यारे" (गीत गाना)
- "खिलता गुलाब कैसा, सौरभ उड़ा रहा है" (सुगंध फैलाना)
- "गाते हैं गीत कैसे, लेते किसान मनहर" (गीत गाना)
शीर्षक ‘वर्षा-बहार’ क्यों?:
- "वर्षा-बहार" शीर्षक वर्षा के साथ आने वाली खुशी और उत्सव को दर्शाता है। ये सकारात्मक गतिविधियाँ जैसे गीत गाना, नृत्य करना, और सुगंध फैलाना दिखाती हैं कि वर्षा प्रकृति और मनुष्यों में नई ऊर्जा और आनंद भर देती है।
- "बहार" शब्द वसंत या खुशी का प्रतीक है, और वर्षा इस खुशी को लाती है, जिससे यह शीर्षक उपयुक्त है।
अनुमान और कल्पना से
अपने समूह में मिलकर चर्चा कीजिए—
(क) "सारे जगत की शोभा, निर्भर है इसके ऊपर" कविता में कहा गया है कि वर्षा पर सारे संसार की शोभा निर्भर है। वर्षा के अभाव में मानव जीवन और पशु-पक्षियों पर क्या-क्या प्रभाव पड़ सकता है?
उत्तर
मानव जीवन पर प्रभाव:
- कृषि पर असर: बिना वर्षा के फसलें नहीं उगेंगी, जिससे भोजन की कमी हो सकती है।
- पानी की कमी: नदियाँ, तालाब, और कुएँ सूख जाएँगे, जिससे पीने और सिंचाई के लिए पानी नहीं मिलेगा।
- आर्थिक नुकसान: किसानों की आय कम होगी, और खाद्य पदार्थों की कीमतें बढ़ेंगी।
पशु-पक्षियों पर प्रभाव:
- खाद्य और पानी की कमी: जंगल सूख जाएँगे, जिससे पशु-पक्षियों को भोजन और पानी नहीं मिलेगा।
- प्रजनन पर असर: पानी की कमी से कई प्रजातियों का जीवन चक्र प्रभावित होगा।
- आवास का नुकसान: सूखे के कारण जंगल और तालाब सूख जाएँगे, जिससे पशु-पक्षियों के रहने की जगह कम होगी।
(ख) "बिजली चमक रही है, बादल गरज रहे हैं" बिजली चमकना और बादल का गरजना प्राकृतिक घटनाएँ हैं। इन घटनाओं का लोगों के जीवन पर क्या-क्या प्रभाव हो सकता है?
(संकेत – आप सकारात्मक और नकारात्मक यानी अच्छे और बुरे, दोनों प्रकार के प्रभावों के बारे में सोच सकते हैं।)
उत्तर
सकारात्मक प्रभाव:
- वर्षा की शुरुआत: बिजली और बादल वर्षा का संकेत देते हैं, जो फसलों और पानी की उपलब्धता के लिए अच्छा है।
- प्रकृति की सुंदरता: बिजली की चमक और बादलों की गर्जना प्रकृति की शक्ति और सुंदरता को दर्शाती हैं, जो लोगों को आनंद देती हैं।
नकारात्मक प्रभाव:
- भय और खतरा: बिजली गिरने से लोगों, पशुओं, और संपत्ति को नुकसान हो सकता है।
- बाढ़ का खतरा: तेज गर्जना के साथ भारी वर्षा से बाढ़ आ सकती है, जो फसलों और घरों को नष्ट कर सकती है।
- यातायात में रुकावट: बिजली और गर्जना के साथ तेज वर्षा सड़कों को बंद कर सकती है।
(ग) "करते हैं नृत्य वन में, देखो ये मोर सारे" इस पंक्ति को ध्यान में रखते हुए वर्षा आने पर पक्षियों और जीवों की खुशी का वर्णन कीजिए। वे अपनी प्रसन्नता कैसे व्यक्त करते होंगे?
उत्तर
वर्षा आने पर पक्षी और जीव अपनी खुशी को विभिन्न तरीकों से व्यक्त करते हैं। जैसे:
- मोर: वर्षा शुरू होते ही मोर अपने रंग-बिरंगे पंख फैलाकर नृत्य करते हैं, जैसे वे प्रकृति के साथ उत्सव मना रहे हों।
- पपीहे: वे मधुर स्वर में गीत गाते हैं, जो उनकी खुशी और गर्मी से राहत को दर्शाता है।
- मेंढक: तालाबों में पानी भरने पर मेंढक टर्र-टर्र की आवाज करते हैं, जो उनके लिए गीत की तरह है।
- हंस: वे सुंदर कतारों में तैरते या उड़ते हैं, जो उनकी प्रसन्नता और अनुशासन को दिखाता है।
- अन्य पक्षी: कोयल, तोते, और अन्य पक्षी चहचहाकर अपनी खुशी व्यक्त करते हैं।
आपकी रचनाएँ
(क) कविता में वर्णन है कि मोर नृत्य कर रहे हैं और मेंढक सुगीत गा रहे हैं। इस दृश्य को अपने शब्दों में चित्रित कीजिए।
उत्तर
जब वर्षा की पहली बूँदें धरती पर गिरती हैं, तो जंगल में एक उत्सव सा शुरू हो जाता है। मोर अपने सुंदर नीले-हरे पंख फैलाकर धीरे-धीरे नाचने लगते हैं। उनकी हरकतें ऐसी हैं जैसे वे बादलों का स्वागत कर रहे हों। पास के तालाब में मेंढक टर्र-टर्र की मधुर आवाज में गीत गा रहे हैं। पानी की बूँदों के साथ तालाब में छोटी-छोटी लहरें बन रही हैं, और मेंढक उछल-उछलकर अपनी खुशी जाहिर कर रहे हैं। पेड़ों की पत्तियाँ हवा में हिल रही हैं, और चारों तरफ ठंडक और ताजगी फैल रही है। यह दृश्य ऐसा है जैसे प्रकृति एक रंगीन मंच पर नृत्य और संगीत का प्रदर्शन कर रही हो।
(ख) वर्षा से जुड़ी किसी प्राचीन कथा या लोककथा को इस कविता से जोड़कर एक कहानी तैयार कीजिए।
उत्तर
कहानी: इंद्रदेव और जंगल की खुशी
एक बार एक छोटे से गाँव के पास एक घना जंगल था। उस जंगल में मोर, मेंढक, हंस, और कई पेड़-पौधे थे। लेकिन उस साल गर्मी बहुत तेज थी, और जंगल सूख रहा था। मोर के पंख मुरझा गए, मेंढकों के तालाब सूख गए, और किसानों के खेत बंजर हो गए। सभी ने इंद्रदेव से वर्षा की प्रार्थना की।
एक रात, जंगल के सबसे बूढ़े बरगद के पेड़ ने सभी जीवों को बुलाया और कहा, "हमें इंद्रदेव को अपनी खुशी दिखानी होगी।" मोर ने कहा, "मैं नाचूँगा!" मेंढकों ने कहा, "हम गीत गाएँगे!" और हंसों ने कहा, "हम सुंदर कतार में उड़ेंगे!" अगले दिन, जैसे ही सूरज उगा, मोर ने अपने पंख फैलाए और नाचने लगा। मेंढक तालाब के किनारे गाने लगे, और हंस कतार बनाकर आकाश में उड़ने लगे। उनकी खुशी देखकर इंद्रदेव प्रसन्न हो गए। उन्होंने घने बादल भेजे, बिजली चमकी, और मूसलाधार वर्षा शुरू हो गई। जंगल फिर से हरा-भरा हो गया। गुलाब खिलने लगे, और उनकी सुगंध चारों तरफ फैल गई। किसान खेतों में गीत गाने लगे। यह सब देखकर बरगद का पेड़ मुस्कुराया और बोला, "वर्षा-बहार हमारी एकता और खुशी की देन है।"
कविता से संबंध: यह कहानी कविता की पंक्तियों जैसे "करते हैं नृत्य वन में", "मेंढक लुभा रहे हैं", और "गाते हैं गीत कैसे" से प्रेरित है, जो वर्षा की खुशी को दर्शाती हैं।
(ग) इस कविता से प्रेरणा लेकर एक चित्र बनाइए। उसमें आपने क्या-क्या बनाया है और क्यों?
उत्तर
मैंने चित्र में घने बादल, बिजली चमकती हुई, बरसती हुई बारिश, हरे-भरे पेड़ और खेत बनाए हैं। बीच में रंग-बिरंगे मोर नृत्य करते हुए दिखाए हैं। तालाब के किनारे मेंढक 'टर्र-टर्र' करते हुए गा रहे हैं। साथ ही कुछ किसान खेत में काम करते हुए गीत गा रहे हैं। इस चित्र में मैंने वर्षा ऋतु की खुशियों, प्रकृति की ताजगी और सभी जीव-जंतुओं की प्रसन्नता को दर्शाने की कोशिश की है, जैसा कि कविता में वर्णित है।
शब्द से जुड़े शब्द
अपने समूह में चर्चा करके ‘वर्षा’ से जुड़े शब्द नीचे दिए गए रिक्त स्थानों में लिखिए—
उत्तर
कविता की रचना
"वर्षा-बहार सब के, मन को लुभा रही है"
इस पंक्ति में रेखांकित शब्दों पर ध्यान दीजिए। ‘वर्षा’ एक ऋतु का नाम है। ‘बहार’ ‘वसंत’ का दूसरा नाम है। यहाँ ‘वर्षा’ और ‘बहार’ को एक साथ दिया गया है जिससे वर्षा ऋतु की सुंदरता को स्पष्ट किया जा सके।
इस कविता में ऐसी ही अन्य विशेषताएँ छिपी हैं, जैसे— कविता की कुछ पंक्तियाँ सरल वाक्य के रूप में हैं, तो कुछ में वाक्य संरचना सरल नहीं है।
अपने समूह के साथ मिलकर इस कविता की अन्य विशेषताओं की सूची बनाइए। अपने समूह की सूची को कक्षा में सबके साथ साझा कीजिए।
उत्तर
कविता “वर्षा-बहार” की विशेषताएँ:
- वर्षा और बहार का मिलन:कविता में “वर्षा” और “बहार” दो शब्दों को एक साथ जोड़ा गया है। “वर्षा” का मतलब है बारिश, और “बहार” का मतलब है वसंत या सुंदरता का समय। यह शब्द हमें वर्षा के दौरान प्रकृति की सुंदरता और ताजगी का अहसास कराते हैं।
- प्राकृतिक सौंदर्य का चित्रण:कविता में वर्षा से जुड़ी खूबसूरत प्राकृतिक घटनाओं का वर्णन है। जैसे, “बिजली चमक रही है”, “झरने बह रहे हैं”, और “पानी बरस रहा है”। ये पंक्तियाँ हमें वर्षा के समय के दृश्य को महसूस कराती हैं।
- जीवों की खुशी: कविता में यह भी दिखाया गया है कि वर्षा के समय जीव-जंतु जैसे मोर, मेंढक, और पपीहे खुशी से नाचते और गाते हैं। ये सभी प्रकृति की खुशी को व्यक्त करते हैं।
- सकारात्मकता और ऊर्जा:कविता में कई बार सकारात्मक शब्दों का उपयोग हुआ है, जैसे “सौरभ उड़ा रहा है”, “नृत्य करना”, और “गीत गाना”। यह कविता जीवन में खुशियाँ और ऊर्जा फैलाने का काम करती है।
- गहरे अर्थ वाले शब्द:कविता में कुछ शब्द और वाक्य ऐसे हैं जो गहरे अर्थ रखते हैं। जैसे “सारे जगत की शोभा, निर्भर है इसके ऊपर” का मतलब है कि पूरी दुनिया की सुंदरता बारिश पर निर्भर करती है।
- सहज और सरल भाषा:कविता की भाषा बहुत सरल है, जैसे “पानी बरस रहा है”। लेकिन कुछ जगहों पर भाषा थोड़ी गहरी और भावनात्मक भी होती है, जैसे “वर्षा एक अद्भुत प्राकृतिक घटना है”।
- प्राकृतिक घटनाओं का चित्रण:कविता में वर्षा के दौरान जो भी प्राकृतिक घटनाएँ होती हैं, जैसे बादल गरजना या झरने बहना, उनका सुंदर चित्रण किया गया है।
- भावनाएँ और आनंद: कविता सिर्फ दृश्य नहीं दिखाती, बल्कि इसमें खुशी, उल्लास और आनंद जैसी भावनाएँ भी हैं। जैसे मोर का नृत्य और मेंढक का गाना।
- रूपक और अलंकार का प्रयोग: कविता में रूपक (जैसे, “वर्षा-बहार”) और अलंकार का इस्तेमाल किया गया है, जिससे कविता और भी सुंदर और आकर्षक बनती है।
कविता का सौंदर्य
(क) नीचे कविता की कुछ पंक्तियाँ दी गई हैं। इनमें कुछ शब्द हटा दिए गए हैं और साथ में मिलते-जुलते अर्थ वाले शब्द भी दिए गए हैं। इनमें से प्रत्येक शब्द से वह पंक्ति पूरी करके देखिए। जो शब्द उस पंक्ति में जँच रहे हैं, उन पर घेरा बनाइए।
_____ बहार सब के, मन को लुभा रही है (बारिश, बरसात, बरखा, दृष्टि)
_____ में छटा अनूठी, घनघोर छा रही है (आकाश, गगन, अंबर, व्योम)
बिजली चमक रही है, ____ गरज रहे हैं (मेघ, जलधर, घन, जलद)
_____ बरस रहा है, झरने भी ये बहे हैं (जल, नीर, सलिल, तोय)
उत्तर
(ख) अपने समूह में विमर्श करके पता लगाइए कि कौन-से शब्द रिक्त स्थानों में सबसे अधिक साथियों को जँच रहे हैं और क्यों?
उत्तर
ऊपर दिए गए शब्द (बरखा, गगन, मेघ, जल) सबसे अधिक जँचते हैं क्योंकि:
- ये शब्द काव्यात्मक और सरल हैं, जो कविता की लय और भाव के साथ मेल खाते हैं।
- ये शब्द बच्चों के लिए परिचित हैं और कविता को और सुंदर बनाते हैं।
- अन्य शब्द जैसे "वृष्टि" या "व्योम" थोड़े जटिल हैं, जो कविता की सरलता को कम कर सकते हैं।
विशेषण
"बागों में गीत सुंदर, गाती हैं मालिनें अब"
इस पंक्ति में ‘सुंदर’ शब्द ‘गीत’ की विशेषता बता रहा है, अर्थात यह ‘विशेषण’ है। ‘गीत’ एक संज्ञा शब्द है जिसकी विशेषता बताई जा रही है, अर्थात यह ‘विशेष्य’ शब्द है।
(क) नीचे दी गई पंक्तियों में विशेषण और विशेष्य शब्दों की पहचान करके लिखिए—
उत्तर
(ख) नीचे दिए गए विशेष्यों के लिए अपने मन से विशेषण सोचकर लिखिए—
उत्तर
ऋतु और शब्द
"फिरते लखो पपीहे, हैं ग्रीष्म ताप खोते"
‘ताप’ शब्द ग्रीष्म ऋतु से जुड़ा शब्द है। भारत में मुख्य रूप से छह ऋतुएँ क्रम से आती-जाती हैं। लोग इन ऋतुओं में कुछ विशेष शब्दों का उपयोग करते हैं। नीचे दिए गए शब्दों को पढ़कर कौन-सी ऋतु का स्मरण होता है? इन शब्दों को तालिका में उपयुक्त स्थान पर लिखिए—
उत्तर
पाठ से आगे
आपकी बात
(क) वर्षा के समय आपके क्षेत्र में क्या-क्या परिवर्तन आते हैं?
उत्तर
वर्षा के समय हमारे क्षेत्र में बहुत से परिवर्तन आते हैं। जैसे:
- हरियाली: पेड़-पौधे हरे-भरे हो जाते हैं, और खेतों में फसलें लहलहाने लगती हैं।
- ठंडक: गर्मी कम हो जाती है, और मौसम सुहाना हो जाता है।
- पानी: नदियाँ और तालाब भर जाते हैं, और पानी की कमी दूर होती है।
- जीव-जंतु: मेंढक, मोर, और पक्षी सक्रिय हो जाते हैं।
(ख) बारिश के चलते स्कूल आने-जाने के समय के अनुभव बताइए। किसी रोचक घटना को भी साझा कीजिए।
उत्तर
- अनुभव: बारिश में स्कूल जाना मजेदार लेकिन मुश्किल होता है। छाता लेकर चलना पड़ता है, और सड़कों पर कीचड़ हो जाता है। बैग को गीला होने से बचाना मुश्किल होता है।
- रोचक घटना: एक बार बारिश में स्कूल जाते समय मेरा छाता उलट गया, और मैं पूरी तरह भीग गया। मेरे दोस्त हँसने लगे, और हम सब मिलकर बारिश में नाचने लगे। यह बहुत मजेदार था!
(ग) वर्षा ऋतु में आपको क्या-क्या करना अच्छा लगता है और क्या-क्या नहीं कर पाते हैं?
उत्तर
पसंद:
- बारिश में भीगना और कागज की नाव बनाकर पानी में तैराना।
- गरम चाय और पकौड़े खाना।
- खिड़की से बारिश का दृश्य देखना।
नहीं कर पाते:
- बाहर खेलना, क्योंकि मैदान गीला और फिसलन भरा होता है।
- साइकिल चलाना, क्योंकि सड़कें गीली होती हैं।
- कपड़े जल्दी सुखाना, क्योंकि धूप नहीं होती।
(घ) बारिश के मौसम में आपके आस-पड़ोस के पशु-पक्षी अपनी सुरक्षा कैसे करते हैं? उन्हें कौन-कौन सी समस्याएँ होती हैं?
उत्तर
सुरक्षा:
- पक्षी पेड़ों की घनी पत्तियों या छतों के नीचे छिपते हैं।
- कुत्ते और बिल्लियाँ सूखी जगह जैसे घर के बरामदे में शरण लेते हैं।
- चींटियाँ अपने बिलों को मजबूत करती हैं।
समस्याएँ:
- भोजन की कमी, क्योंकि कीड़े और बीज पानी में बह जाते हैं।
- ठंड लगना, खासकर छोटे पक्षियों और पशुओं को।
- रहने की जगह का गीला होना, जिससे उनके बिल या घोंसले खराब हो जाते हैं।
(ङ) अपने समूह के साथ मिलकर वर्षा ऋतु पर आधारित एक कविता की रचना कीजिए। उसमें अपने घर और आस-पड़ोस से जुड़ी हुई बातें सम्मिलित कीजिए।
उत्तर
कविता: बारिश की बहार
आए बादल काले-काले,
लाए ठंडक प्यारी-प्यारी।
खेतों में लहराए फसलें,
गाए कोयल गीत सुहानी।
रिमझिम बूँदें गिरतीं नाचें,
बच्चे कागज की नाव चलाएँ।
गली में मेंढक टर्र-टर्र गाएँ,
मम्मी पकौड़े गरम बनाएँ।
पेड़-पौधे हरे-हरे लहरे,
गुलाब की खुशबू मन भाए।
हम सब मिलकर गीत गाएँ,
बारिश की बहार मनाएँ।
साक्षात्कार
"गाते हैं गीत कैसे, लेते किसान मनहर।"
मान लीजिए कि आप अपने विद्यालय की पत्रिका के पत्रकार हैं। आप एक किसान का साक्षात्कार कर रहे हैं जो वर्षा के आने पर अपने खेतों में गीत गा रहा है।
(क) अपने समूह के साथ मिलकर उस किसान के साक्षात्कार के लिए कुछ प्रश्न लिखिए।
उत्तर
किसान के साक्षात्कार के लिए प्रश्न:
- आपका नाम क्या है, और आप कितने समय से खेती कर रहे हैं?
- वर्षा के आने पर आपको कैसा लगता है?
- आप खेतों में काम करते समय गीत क्यों गाते हैं?
- इस बार की वर्षा से आपकी फसलों को क्या लाभ हुआ?
- क्या बारिश कभी आपके लिए मुश्किलें भी लाती है?
(ख) अपने समूह के साथ मिलकर इस साक्षात्कार को अभिनय द्वारा प्रस्तुत कीजिए। आपके समूह का कोई सदस्य किसान की भूमिका निभा सकता है। अन्य सदस्य पत्रकारों की भूमिका निभा सकते हैं।
उत्तर
साक्षात्कार का अभिनय प्रस्तुति के लिए सुझावः
- समूह के एक सदस्य किसान की भूमिका निभाएगा, जो अपने खेतों में काम करते हुए गीत गा रहा होगा।
- अन्य सदस्य पत्रकारों की भूमिका निभाएंगे, जो किसान से ऊपर दिए गए प्रश्न पूछेंगे।
- अभिनय में किसान अपने अनुभव और भावनाएँ खुले दिल से बताएगा।
- पत्रकार ध्यान से सुनेंगे और उत्सुकता से प्रश्न पूछेंगे।
- यह अभिनय कक्षा में जीवन्तता और व्यावहारिकता लाने के लिए किया जा सकता है।
वर्षा के दृश्य
(क) वर्षा के उन दृश्यों की सूची बनाइए जिनका उल्लेख इस कविता में नहीं किया गया है। जैसे आकाश में इंद्रधनुष।
उत्तर
वर्षा के उन दृश्यों की सूची जिनका उल्लेख कविता में नहीं है:
- आकाश में इंद्रधनुष का सुंदर रंगीन चक्र।
- बारिश के बाद धरती पर गीली मिट्टी की खुशबू।
- बारिश में बच्चों का नाच-गाना और खेलना।
- पानी में कूदते हुए मछलियाँ।
- खेतों में पानी जमा होना और छोटे-छोटे तालाब बनना।
- बारिश के कारण बनने वाले छोटे-छोटे नदी-नाले।
- छतों और पेड़ों से टपकती बूंदें।
- बारिश के बाद बादलों के हटने पर साफ नीला आसमान।
(ख) वर्षा के समय आकाश में बिजली पहले दिखाई देती है या बिजली कड़कने की ध्वनि पहले सुनाई देती है या दोनों साथ-साथ दिखाई-सुनाई देती है? क्यों? पता कीजिए।
उत्तर
आकाश में पहले बिजली चमकती है और बाद में उसकी आवाज़ यानी बिजली कड़कने की ध्वनि सुनाई देती है। इसका कारण यह है कि प्रकाश की गति ध्वनि की गति से बहुत तेज होती है, इसलिए हम पहले चमक देखते हैं और बाद में आवाज़ सुनते हैं। कभी-कभी दोनों साथ-साथ भी लग सकते हैं, जब बिजली बहुत पास से गिरती है।
(ग) आपने वर्षा से पहले और वर्षा के बाद किसी पेड़ या पौधे को ध्यान से अवश्य देखा होगा। आपको कौन-कौन से अंतर दिखाई दिए?
उत्तर
वर्षा से पहले और वर्षा के बाद पेड़ या पौधे में अंतरः
वर्षा से पहले:
- पत्तियाँ सूखी और धूल भरी होती हैं।
- पौधे मुरझाए हुए लगते हैं।
- मिट्टी सूखी और सख्त होती है।
वर्षा के बाद:
- पत्तियाँ चमकदार और साफ हो जाती हैं।
- पौधे ताजे और हरे दिखते हैं।
- मिट्टी गीली और नरम हो जाती है, और नए अंकुर निकलते हैं।
(घ) "चलते हैं हंस कहीं पर, बाँधे कतार सुंदर"
कविता में हंसों के कतार में अर्थात पंक्तिबद्ध रूप से चलने का वर्णन किया गया है। आपने किन-किन को और कब-कब पंक्तिबद्ध चलते हुए देखा है? (संकेत — चींटी, गाड़ियाँ, बच्चे आदि)
उत्तर
“चलते हैं हंस कहीं पर, बाँधे कतार सुंदर” – पंक्तिबद्ध रूप में चलने वाले अन्य दृश्य:
- चींटियाँ: खाना ढोते समय कतार में चलती हैं।
- बच्चे: स्कूल में प्रार्थना के लिए कतार में जाते हैं।
- गाड़ियाँ: ट्रैफिक में पंक्तिबद्ध चलती हैं।
- पक्षी: प्रवास के दौरान कतार में उड़ते हैं, जैसे बगुले।
वर्षा में ध्वनियाँ
(क) कविता में वर्षा के अनेक दृश्य दिए गए हैं। इन दृश्यों में कौन-कौन सी ध्वनियाँ सुनाई दे रही होंगी? अपनी कल्पना से उन ध्वनियों को कक्षा में सुनाइए।
उत्तर
कविता में वर्षा के दृश्य और उनमें सुनाई देने वाली ध्वनियाँ:
- बूँदों की रिमझिम आवाज
- बादलों की गड़गड़ाहट
- मेंढकों की टर्र-टर्र
- हवा के चलने की सरसराहट
- पत्तियों पर पानी टपकने की आवाज
- किसानों और मालिनों के गीत
(ख) "मेंढक लुभा रहे हैं, गाकर सुगीत प्यारे"
कविता में मेंढकों की टर्र-टर्र को भी प्यारा गीत कहा गया है। आपके विचार से बेसुरी ध्वनियाँ भी कब-कब अच्छी लगने लगती हैं?
उत्तर
बेसुरी ध्वनियाँ जैसे मेंढकों की टर्र-टर्र तब अच्छी लगती हैं जब:
- वे प्रकृति के उत्सव का हिस्सा हों, जैसे वर्षा के समय।
- वे खुशी और राहत का संकेत दें, जैसे गर्मी के बाद वर्षा।
- वे परिचित हों, जैसे गाँव में तालाब के पास मेंढकों की आवाज।
सृजन
“बागों में खूब सुख से, आमोद छा रहा है”
‘आमोद’ या ‘मोद’ दोनों शब्दों का अर्थ होता है– आनंद, हर्ष, खुशी, प्रसन्नता। कविता में वर्षा ऋतु में ‘आमोद’ के दृश्यों का वर्णन किया गया है। कविता के इन दृश्यों को हम नीचे दिए गए उदाहरण की तरह अनुच्छेद में भी लिख सकते है-
“हवा की ठंडक थी, बारिश की रिमझिम बूँदें गिर रही थीं, मोर नृत्य कर रहे थे और मेंढक खुश होकर गाना गा रहे थे। ये सभी मिलकर वर्षा ऋतु को एक उत्सव जैसा बना रहे थे। बागों में गुलाब की खुशबू और आम के पेड़ों पर नए फल देखकर पक्षी और लोग, सभी प्रसन्न हो गए थे। किसान अपने खेतों में काम करते हुए इस प्राकृतिक आनंद के भागीदार बन रहे थे।”
अब नीचे दिए गए ‘आमोद’ से जुड़े विभिन्न दृश्यों का एक-एक अनुच्छेद में वर्णन कीजिए—
उत्तर
- बारिश के बाद उपवन में सैर: बारिश के बाद उपवन में सैर करना बहुत सुखद होता है। पेड़ों की पत्तियाँ पानी से धुलकर चमक रही होती हैं। गीली मिट्टी की सुगंध हवा में फैली होती है। पक्षी चहचहा रहे होते हैं, और रंग-बिरंगे फूल खिले होते हैं। ठंडी हवा चेहरे को छूती है, और मन में शांति और खुशी भर जाती है। यह ऐसा लगता है जैसे प्रकृति ने एक नया रंग बिखेर दिया हो।
- परिवार के किसी प्रिय सदस्य या मित्र से वर्षों बाद मिलना: वर्षों बाद किसी प्रिय मित्र से मिलना मन को आनंद से भर देता है। हम एक-दूसरे को गले लगाते हैं, और पुरानी यादें ताजा हो जाती हैं। चाय की चुस्कियों के साथ हँसी-मजाक चलता है। बाहर बारिश की रिमझिम आवाज इस मुलाकात को और खास बनाती है। यह पल ऐसा होता है जैसे समय रुक गया हो, और केवल खुशी बाकी रह जाए।
- सर्दियों का पहला हिमपात: सर्दियों का पहला हिमपात देखना जादुई होता है। सफेद बर्फ धीरे-धीरे जमीन पर गिरती है, और चारों तरफ चाँदी जैसी चमक फैल जाती है। बच्चे बर्फ के गोले बनाकर खेलते हैं, और बड़ों के चेहरों पर मुस्कान आ जाती है। ठंडी हवा और बर्फ की नरमी मन को शांति देती है। यह दृश्य प्रकृति का एक अनोखा उपहार लगता है।
- कोई उत्सव: उत्सव का माहौल खुशी और उमंग से भरा होता है। लोग रंग-बिरंगे कपड़े पहनते हैं, और घरों में मिठाइयाँ बनती हैं। बच्चे पटाखे छुड़ाते हैं, और बड़ों के बीच हँसी-ठिठोली चलती है। बाहर बारिश की बूँदें इस उत्सव को और रंगीन बनाती हैं। नाच, गाना, और स्वादिष्ट भोजन मिलकर हर दिल में आनंद भर देते हैं।
- मित्रों संग खेलना: मित्रों के साथ खेलना हमेशा मजेदार होता है। बारिश के बाद जब मैदान हरा और गीला होता है, हम फुटबॉल खेलते हैं। कीचड़ में फिसलना और हँसना हमें और उत्साहित करता है। खेल के बाद हम सब मिलकर ठंडी हवा में कहानियाँ सुनाते हैं। यह समय दोस्ती और खुशी का अनमोल पल होता है।
- किसी प्रिय पुस्तक को पढ़ना: बारिश की रिमझिम के बीच अपनी पसंदीदा किताब पढ़ना बहुत सुकून देता है। खिड़की के पास बैठकर, गरम चाय की चुस्कियाँ लेते हुए, मैं कहानी की दुनिया में खो जाता हूँ। बारिश की आवाज और किताब की कहानी मिलकर मन को शांति और आनंद देती हैं। यह समय ऐसा होता है जैसे मैं अपने सपनों में जी रहा हूँ।
- किसी कार्य को पूरा करना या सफल प्रदर्शन करना: किसी कार्य को पूरा करने की खुशी अनमोल होती है। जैसे, स्कूल का प्रोजेक्ट खत्म करने के बाद जब शिक्षक तारीफ करते हैं, तो मन गर्व से भर जाता है। बाहर बारिश की बूँदें इस खुशी को और बढ़ा देती हैं। मैं अपने दोस्तों के साथ इस सफलता को मिठाई खाकर मनाता हूँ। यह पल मेहनत का फल लगता है।
- समुद्र के किनारे शांत सवेरा या शाम: समुद्र के किनारे सवेरा बहुत शांत और सुंदर होता है। लहरों की हल्की आवाज और ठंडी हवा मन को सुकून देती हैं। सूरज की किरणें पानी पर चमकती हैं, और आसमान में पक्षी उड़ते हैं। बारिश की हल्की बूँदें इस दृश्य को और खास बनाती हैं। यह पल प्रकृति के साथ एकता का एहसास कराता है।
वर्षा से जुड़े गीत
“बागों में गीत सुंदर, गाती हैं मालिनें अब”
“गाते हैं गीत कैसे, लेते किसान मनहर।”
प्रश्न: हमारे देश में वर्षा के आने पर अनेक गीत और लोकगीत गाए जाते हैं। अपने समूह के साथ मिलकर वर्षा से जुड़े गीत और लोकगीत खोजिए और लिखिए। इस कार्य के लिए आप अपने परिजनों, शिक्षकों, इंटरनेट और पुस्तकालय की सहायता ले सकते हैं।
उत्तर
वर्षा से जुड़े गीत व लोकगीत
हिंदी लोकगीत:
“सावन की बौछारों में, मन मयूर नाचे,
मोर के पंख फैलाए, मीठी बांसुरी बजे।”
“आओ सखी, मचलें हम, बारिश में भीगने चलें,
रिमझिम बूँदें गिर रही हैं, चलो, हर खुशी गाने चलें।”
राजस्थानी लोकगीत:
“बरसात री राती, बेरा छाया सॉव,
मोर नाच रहे, बन्ना बधाई दे।”
गुजराती लोकगीत:
“आनंदे सावन वाळा, सागर री छटा भारी,
मोर पंखी छाले, आकाश मँझे बादल जारे।”
प्रश्न: अपने समूह के साथ मिलकर वर्षा से जुड़े गीत और लोकगीत खोजिए और लिखिए। सभी समूहों द्वारा एकत्रित गीतों को संकलित करके 'वर्षा-गीतों' की एक पुस्तिका तैयार कीजिए।
उत्तर
पुस्तिका का शीर्षक:“वर्षा के गीत”
(i) गीत – “सावन आया”
सावन आया, बूँदें छाईं,
संग में मोर नाचे, खुशियाँ आईं।
रिमझिम बूँदें, गाती हैं ध्वनियाँ,
हरियाली छाई, बगिया में खुशियाँ।
(लोकगीत)
विशेष: यह गीत सावन की शुरुआत और वर्षा की बूँदों के गिरने के साथ आनंद की अनुभूति को व्यक्त करता है।
(ii) गीत – “मोर का नृत्य”
मोर का नृत्य, प्यारी बांसुरी की तान,
सावन की धारा में बहता प्यार का अभिवादन।
वर्षा की बूँदें, छनकती बंसी,
मोर नाचते जाएं, हवाओं में नयी झंकार।
(कृषक गीत)
विशेष: वर्षा में मोर के नृत्य को संजीवता और प्राकृतिक सौंदर्य के रूप में गाया गया है।
(iii) गीत – “बरखा आई”
बरखा आई, खुशी का संग लाई,
पानी में खिली क्यारी, बगिया महकाई।
हवा ने किया गीत, मिट्टी में रंग घोला,
बरखा की रिमझिम, जीवन में सुख लाया।
(लोकगीत)
विशेष: यह गीत वर्षा की रिमझिम बूँदों के गिरने से उत्पन्न होने वाले सुख और शांति की भावना को व्यक्त करता है।
(iv) गीत – “जल बूँदें”
जल बूँदें गिरने लगीं, बगियाँ महक उठीं,
आत्मा ने नए जीवन की शांति पाई।
चरणों में वर्षा की धारें बही,
आकाश में नये रंग, भूमि में बहार आई।
(राजस्थानी लोकगीत)
विशेष: यह गीत वर्षा के समय भूमि और आकाश के सौंदर्य का वर्णन करता है और उसके प्रभावों को दर्शाता है।
आज की पहेली
आपने वर्षा से जुड़ी एक कविता पढ़ी है। अब भारत की विभिन्न ऋतुओं से जुड़ी कुछ पहेलियाँ पढ़िए और उन्हें बूझिए—
1. "जाने कैसा मौसम आया,
सूरज ने सबको झुलसाया।
आम पके तो रस टपके,
समय कौन-सा ये झलके?"
उत्तर
ग्रीष्म ऋतु (गर्मी)
2. "पानी बरसे, बादल गरजे,
धरती का हर कोना हरे।
नदियाँ नाले भर दें और,
बूझो किसका है ये जोर?"
उत्तर
वर्षा ऋतु (बरसात)
3. "हवा में ठंडक बढ़ती जाए,
धूप सुहानी सबको भाए।
नई फसलें खेतों में लाए,
बूझो कौन-सा मौसम आए?"
उत्तर
शरद ऋतु
4. "फूल खिलें, हर पक्षी गाए,
चारों ओर हरियाली छाए।
बागों में खुशबू छा जाए,
बूझो ऋतु ये क्या कहलाए?"
उत्तर
वसंत ऋतु
5. "बर्फ गिरे, सर्दी बढ़ जाए,
ऊनी कपड़े सबको भाए।
धुंध की चादर लाए रात,
बूझो किस ऋतु की बात?"
उत्तर
शिशिर या हेमंत ऋतु (सर्दी)
6. "पत्ता-पत्ता गिरता जाए,
सूनी डाली बहुत सताए।
पेड़ करें खुद को तैयार,
कौन-सी ऋतु का है ये सार?"
उत्तर
पतझड़
साझी समझ
अब इस कविता पर अपने साथियों के साथ विचार-विमर्श कीजिए।
उत्तर
विचार-विमर्श के बिंदु:
1. वर्षा ऋतु की सुंदरता का चित्रण- वर्षा ऋतु को कवि ने कितनी खूबसूरती से प्रकृति, पक्षियों, और मानव जीवन से जोड़ा है?
- आपको कविता में वर्षा का कौन-सा दृश्य सबसे अधिक पसंद आया और क्यों?
- वर्षा से किस-किस को लाभ होता है?
- कविता में किन प्राकृतिक और जीव-जंतुओं का वर्णन किया गया है?
- वर्षा ऋतु में किसान क्यों खुश होते हैं?
- क्या आप कभी खेत में काम करते हुए किसी किसान को गीत गाते देखे हैं?
- मोर, मेंढक और पपीहे वर्षा में क्या करते हैं?
- इन क्रियाओं से आपको क्या अनुभव होता है?
- वर्षा ऋतु आने पर आपके मन में क्या भाव आते हैं?
- क्या आपने कभी तेज बारिश, बिजली और गरजते बादल का अनुभव किया है?
चर्चा का उद्देश्य: इस चर्चा का उद्देश्य यह है कि बच्चे कविता को केवल शब्दों में न पढ़ें, बल्कि उसके भाव और चित्रों को समझें और महसूस करें। यह भी समझें कि वर्षा ऋतु केवल एक मौसम नहीं है, बल्कि यह जीवन, आनंद और प्रकृति की पुनः जागृति का प्रतीक है।
खोजबीन के लिए
- वर्षा ऋतु
https://www.youtube.com/watch?v=T6VAVOcUbYU - आँधी पानी
https://www.youtube.com/watch?v=v6D-QBeN2u8 - वसंत
https://www.youtube.com/watch?v=_P5z-V81Yc0 - ऋतुएँ
https://www.youtube.com/watch?v=iYVXaE2HHa8
उत्तर
विद्यार्थी स्वयं वीडियो देखे और इसकी खोजबीन करे।